रायबरेली – जनपद के डलमऊ कोतवाली क्षेत्र में एक अनुसूचित जाति के युवती के साथ सामूहिक बलात्कार की घटना सामने आयी है जिसमे पीड़िता का आरोप है कि उसके साथ सामूहिक बलात्कार किया गया है परंतु वहीं डलमऊ पुलिस का कहना है की सामूहिक बलात्कार जैसी कोई घटना नहीं हुई है। डलमऊ कोतवाली क्षेत्र की एक युवती व उसकी मां ने गांव के कुछ युवकों के ऊपर आरोप लगाते हुए बताया कि रविवार शाम को उसकी पुत्री के साथ गांव के ही प्रियांशु सिंह पुत्र संतोष कुमार सिंह व उसके घर में रह रहे दो अज्ञात युवकों ने कट्टा लगाकर पहले तो उसके साथ सामूहिक बलात्कार किया फिर उसको कुएं में लटका कर पानी में डुबोया गया और बाद में उसको बाहर निकाल कर निर्वस्त्र कर छोड़ दिया गया। घटना के बाद उसकी पुत्री किसी प्रकार निर्वस्त्र अवस्था में अपने घर के पास एक गली में जाकर गिर पड़ी और बेहोश हो गई। शाम को जब उसकी पुत्री घर नहीं पहुंची तो परिजन उसको ढूंढना प्रारंभ कर दिया कुछ देर बाद पता चला कि उसकी पुत्री घर के पास एक गली में निर्वस्त्र अवस्था में पड़ी हुई है परिजनों ने जाकर युवती को घर में लाकर कपड़े पहनाया और इसकी सूचना पुलिस को दी। पुलिस सूचना पाकर गांव पहुंची और पीड़ित युवती व उसकी मां तथा आरोपी युवकों को डलमऊ कोतवाली ले आई और कुछ देर बाद पीड़िता का बयान लेकर आरोपियों को पुलिस ने छोड़ दिया। युवती ने पुलिस पर धमकाकर गलत बयान लेने का लगाया आरोप सामूहिक बलात्कार मामले में पीड़िता ने पुलिस पर धमकाने व डरा कर गलत बायल लेने का आरोप लगाया है पीड़िता की मां ने बताया कि थाने में उपस्थित पुलिस ने आरोपियों को बचाने के लिए मुझे व मेरी बेटी को बहुत डराया धमकाया कहा कि अगर सही बोलोगी तो तुम दोनों को फंसा दिया जाएगा जिससे डर के कारण पीड़ित युवती ने पुलिस के सामने आरोपियों के पक्ष में बयान दे दिया था। वहीं इस सम्बन्ध में क्षेत्राधिकारी अरुण कुमार नौवहार से पूछे जाने पर बताया कि घटना की जानकारी हुई थी जिसकी जांच मैंने स्वयं की है और जो बलात्कार का आरोप लगाया जा रहा है वह निराधार है पीड़ित के बयान ले लिए गए हैं जिसमें पीड़ित ने बताया कि मेरे साथ बलत्कार जैसी कोई घटना नहीं हुई है। घटना की जानकारी जब भीम आर्मी सेना के पदाधिकारी को मिली तो सोमवार को पीड़िता के घर पहुंचे भीम आर्मी सेना के पदाधिकारियों ने पीड़िता व उसकी मां से जानकारी प्राप्त की और पुनः डलमऊ कोतवाली पहुंच कर प्रार्थना पत्र देकर पीड़ित युवती का मेडिकल कराए जाने के लिए मांग करने लगे लेकिन डलमऊ पुलिस बीते सोमवार को घटना वाली शाम पीड़िता द्वारा दिए गए बयान के आधार पर मेडिकल न कराए जाने के लिए टाल मटोल बहाने बनाती रही। खबर लिखे जाने तक भीम आर्मी सेना के पदाधिकारी पीड़िता व उसकी मां तथा ग्रामीणों द्वारा कोतवाली में बैठकर पीड़िता का मेडिकल कराये जाने के लिए अड़े रहे।