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बलरामजी जन्मोत्सव -संतान की लंबी आयु के लिए माताएं आज रखें हल षष्ठी का व्रत,

भाद्रपद माह के कृष्ण पक्ष की षष्ठी तिथि को हल षष्ठी का व्रत रखा जाता है। इस व्रत को करने से सूनी गोद भर जाती है। इसके साथ ही जिनकी पहले से संतान है उन्हें तरक्की और लंबी आयु की प्राप्ति होती है।

Hal Shashti Vrat 2024: आज माताएं अपनी संतान की दीर्घायु और सुख-समृद्धि के लिए हल षष्ठी का व्रत करेंगी। यह पर्व श्री बलरामजी के जन्मोत्सव के रूप में मनाया जाता है। बलराम जी का प्रधान शस्त्र हल और मूसल है। इसलिए इस दिन को हलषष्ठी, हरछठ या ललही छठ के रूप में मनाया जाता है। श्री बलराम को हलधर के नाम से जाना जाता है। आज के दिन व्रत करने से जातक को श्रेष्ठ संतान की प्राप्ति होती है और जिनकी पहले से संतान है, उनकी संतान की आयु, आरोग्य और ऐश्वर्य में वृद्धि होती है। आज के दिन श्री बलराम के साथ-साथ भगवान शिव, पार्वती जी, श्री गणेश, कार्तिकेय जी, नंदी और सिंह आदि की पूजा का विशेष महत्व बताया गया है।

हल षष्ठी व्रत 2024 तिथि और शुभ मुहूर्त

हल षष्ठी का व्रत आज यानी कि 24 अगस्त को रखा जाएगा। हिंदू पंचांग के अनुसार, भाद्रपद माह के कृष्ण पक्ष की षष्ठी तिथि आरंभ 24 अगस्त को सुबह 7 बजकर 51 मिनट पर होगा, जबकि इसका समापन 25 अगस्त को सुबह 5 बजकर 30 मिनट पर होगा। 

हल षष्ठी व्रत पूजा विधि

  • हल षष्ठी के दिन प्रात:काल उठकर स्नान आदि कर साफ कपड़े पहन लें।
  • इसके बाद भगवान सूर्यदेव को अर्घ्य दें।
  • अब मंदिर या पूजा घर में गंगाजल छिड़कर शुद्ध कर एक चौकी पर लाल या पीला कपड़ा बिछा दें।
  • फिर चौकी पर बलराम जी और भगवान कृष्ण की मूर्ति या तस्वीर रखें।
  • दोनों  देवताओं को चंदन का तिलक कर फल, फूल, धूप, दीप आदि पूजा सामग्री अर्पित करें।
  • भगवान गणेश और माता पार्वती की पूजा के साथ छठ माता की भी पूजा करें।
  • श्रीकृष्ण की आरती के साथ पूजा संपन्न करें।  

हल षष्ठी व्रत पूजा नियम

  • हल षष्ठी के दिन  बलराम जी के शस्त्र ‘हल’की भी पूजा करना शुभ माना जाता है।
  • इस दिन गाय के दूध और दही का सेवन करना वर्जित माना गया है।
  • इस दिन हल से जोते गए किसी भी अन्न को ग्रहण नहीं करना चाहिए।
  • हल षष्ठी के दिन हल चले जमीन का अन्न, फल, साग-सब्जी का सेवन करना वर्जित होता है।
  • इस दिन तामसिक भोजन जैसे प्याज, लहसुन का सेवन बिल्कुल भी न करें।
  • आज के दिन बड़ों का अनादर न करें और न ही किसी के लिए अपशब्द का प्रयोग करें।
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